सफलता की कहानी
सखी सेंटर ने बिछड़ी महिला को परिजनों से मिलवाया
छतरपुर, 24 अक्टूबर 19
छतरपुर के वन स्टॉप सेंटर ;सखीद्ध के सहयोग से आंध्र प्रदेश के मुन्नीपाले थाना गुन्टूर निवासी लगभग 32 वर्षीय गीता गारपाटी ;परिवर्तित नामद्ध अपने बिछुड़े परिजनों से मिल सकी है। गीता को निर्भया मोबाइल टीम ने मिशन अस्पताल के समीप लावारिस हालत में मिलने पर सखी केन्द्र पहुंचाया था। गीता के सखी केन्द्र पहुंचने पर यहां के स्टॉफ ने परिजनों और रिश्तेदारों के संबंध में पूछताछ की, लेकिन हिन्दी भाषा नहीं समझने के कारण सामग्री से मिले उसके आधार कार्ड के आधार पर ज्ञात हुआ कि महिला आंध्र प्रदेश की निवासी है।
सखी केन्द्र की प्रशासक डॉ. प्राची सिंह चंदेल ने गीता से सांकेतिक भाषा में हाव-भाव के जरिए संवाद करने का प्रयास किया। इसके अलावा आधार कार्ड में अंकित पते के आधार पर आंध्र प्रदेश के गुण्टूर थाना प्रभारी से सम्पर्क कर मदद का अनुरोध किया गया। थाना प्रभारी के सहयोग से महिला के परिवारजनों तक सूचना पहुंच पाई।
प्रशासक ने महिला के संबंध में जानकारी साझा करते हुए यह भी बताया कि संवाद की समसया के साथ ही महिला रात्रि में सोती भी नहीं है और अजीब तरह की हरकतें करती है। इसके बाद महिला की चिकित्सकीय जांच कराई गई थी। जांच के आधार पर यह बात पता चली कि महिला मानसिक तौर पर पूरी तरह से सामान्य नहीं है और इसे सीवियर माइग्रेशन नामक बीमारी है।
सखी केन्द्र के स्टॉफ द्वारा महिला की 4-5 दिनों तक काउंसलिंग कराई गई और स्नेहिल वातावरण मेें महिला का पूरा ध्यान रखा गया। महिला के परिजनों द्वारा सखी केन्द्र में पहुंचने पर दस्तावेजों का परीक्षण कर महिला को परिवारजनों के सुपुर्द किया गया। इस पूरी प्रक्रिया में पुलिस प्रशासन आंध्र प्रदेश और निर्वाना फाउंडेशन के संचालक संजय सिंह का सराहनीय प्रयास रहा।
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